खोज लो देवत्व
खोज लो देवत्व (सजल)
खोज लो देवत्व अपने आप में।
मत करो विश्वास अपने पाप में।।
ढूंढना ही धर्म है हर मनुज का।
मत बिताओ जिंदगी संताप में।।
खोजने से क्या नहीं मिलता भला?
शीत के भी भाव दिखते ताप में।।
मत बुराई कर किसी का कर भला।
दो समय बस सत्यता के जाप में।।
हैं जगत में देवता दानव दनुज।
खर्च कर ऊर्जा स्वयं के नाप में।।
बढ़ चलो संसार के शिव पंथ पर।
सीख रहना आतमा के चाप में।।
मनुज हो हैवान बनना मत कभी।
खोज लो देवत्व को परिताप में।।